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जिंदा है ईमानदारी, सड़क पर गिरा 20 हजार का मोबाइल लौटाया

जिंदा है ईमानदारी, सड़क पर गिरा 20 हजार का मोबाइल लौटाया

लोरमी

गत रात्रि लोरमी जरहागांव मुख्य मार्ग में एक अज्ञात मोबाइल रास्ते में पड़ा मिला। सेमरसल में पदस्थ शिक्षक राजकुमार कश्यप और समाज सेवी विजय निषाद की नजर अचानक उस पर पड़ी। दोनों दशगात्र कार्यक्रम से घर वापस जा रहे थे। उन्होंने रुककर मोबाइल की पूछताछ किए, बैटरी डिस्चार्ज था, कोई मोबाईल का मालिक नहीं मिलने पर घर ले आए। चार्जिंग करने के बाद अंदाज से पासवर्ड डाले फोन अनलॉक हो गया। मोबाइल के कांटेक्ट से संपर्क साधा गया, गैलरी के फोटो अपने निजी मोबाइल से खींचकर लोरमी विकास मंच में डाला गया क्योंकि विकास मंच में गांवों से भी जागरूक लोग जुड़े हुए हैं। साथ ही स्टेट्स में भी लगाए। जिसे देखकर मोबाइल धारक के पहचान के लोग बादल निषाद के रूप में बताए और बात भी कराए फिर परिचय निकल आया संतोष साहू फौजी डिंडोल का। सुरक्षित हाथों में मोबाइल है कहकर सुबह लेने आने की बात कही। तड़के सुबह बालक राहुल निषाद, कमलेश साहू आए उन्हें सुरक्षित मोबाइल वापिस दिया गया। घर की गृहणी कविता ने शराब नहीं पीने का वादा लेकर सुपुत्र राघव के हाथों मोबाइल को वापिस दिलाया। मानवता के नाते ऐसा पहल गांव में चर्चा का विषय बना। इस संबंध में शिक्षक राजकुमार ने बताया कि मेरे स्वयं के मोबाइल तीन बार गुमने के बाद वापिस मिले हैं इसलिए मुझे खुशी है किसी की परेशानी का हल के रूप में भगवान ने हमें चुना। समाज में शराब एक चुनौती है गरीबी का मुख्य कारण है। शराबी व्यक्ति अपने शरीर के साथ साथ परिवार की खुशियों को भी बरबाद कर देता है। इससे संबंधित निषाद जी को सबक लेकर आगे बच्चों की पढ़ाई लिखाई में ध्यान देना चाहिए। विजय निषाद ने समाज में परस्पर सहयोग का वातावरण बनाने की आमजन से अपील की। आपको बता दें कि दोनों संघ की शाखा में जाते हैं और ये जीवन मूल्य वहीं के संस्कारों का प्रतिपादन करता है। जहां एक स्वयंसेवक समाज के महत्वपूर्ण घटक बनकर राष्ट्र की सेवा में लगा रहता है। आने वाले विजयादशमी पर्व संघ का स्थापना दिवस भी है। वहीं निषाद परिवार ने इस प्रसंग से जीवन में सकारात्मक बदलाव के संकेत दिए हैं।


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